मंगलवार, 24 नवंबर 2009

मूलांक ‘3’ वाले पहनें पीला पुखराज

अंक ज्योतिष के अनुसार यदि किसी व्यक्ति का जन्म किसी भी अंग्रेजी महीने की ३, १२, २१ या ३0 तारीख को हुआ हो तो उसका जन्म मूलांक ‘३’ माना जाता है। इस अंक के स्वामी देवगुरु बृहस्पति हैं। इस मूलांक वाले स्त्री-पुरुषों पर गुरु का प्रभाव होता है। मूलांक तीन का स्वामी गुरुसभी ग्रहों का भी गुरु है। बृहस्पति दैविक एवं आध्यात्मिक गुणों का प्रतीक है।

स्वभाव :
मूलांक ३ वाले व्यक्ति बृहस्पति ग्रह के प्रभाव से ओत-प्रोत होते हैं। यह उत्तम विचार एवं चरित्र वाले होते हैं। ये ईमानदार, परोपकारी एवं अध्ययनशील होते हैं। नम्र स्वभाव इनके व्यक्तित्व को निखारने में सहायक रहता है। बृहस्पति की स्थिति में कुछ कमी के कारण कभी-कभी इनका एक और स्वरूप भी दिखाई पड़ता है। इनकी मधुर वाणी में झूठ की मात्रा अधिक होती है तथा ये विलासी और बड़े गुरुघंटाल सिद्ध होते हैं।

स्वास्थ्य :
जीवन शक्ति उत्तम होती है। यदि ये बीमार भी हो जाएं तो शीघ्र स्वस्थ हो जाते हैं। ऐसे व्यक्तियों को स्वास्थ्य, नाड़ी विकार, गला, चर्म, वात, शुगर, नेत्र विकार तथा स्त्रियों को गर्भ एवं गुप्त रोग, पथरी, कमर दर्द तथा हृदय रोग की आशंका रहती है। फरवरी, सितंबर व दिसंबर में स्वास्थ्य बिगड़ने की आशंका होती है।

व्यवसाय एवं कार्यरुचि :
मूलांक ३ वाले व्यक्ति अनुशासित, अध्ययनशील, बुद्धिमान और मृदुभाषी होते हैं। ये उच्च शिक्षा प्राप्त करते हैं। प्रचार-प्रसार तथा लेखन में विशेष सफलता मिलती है। ये वकील, जज, राजदूत, मंत्री, चिकित्सक तथा सफल प्रशासनिक अधिकारी होते हैं। ये अध्यापक, डिजाइनर, अभिनेता तथा ज्योतिषी भी होते हैं।

आर्थिक स्थिति :
महत्वाकांक्षाओं को पूरा करने के लिए अधिक धन खर्च करते हैं। कभी-कभी बुद्धिमत्ता के बावजूद धनहानि का सामना करना पड़ता है। आसानी से धन कमाने व संपत्ति जमा करने की लालसा रहती है। बृहस्पति की उच्च स्थिति होने पर भारी दूरदर्शिता और निर्णय क्षमता के कारण अपने काम में हमेशा अपने प्रतिस्पर्धी से एक कदम आगे ही रहते हैं।

प्रेम संबंध, विवाह और संतान :
मूलांक ३ वाले बड़े गुरूघंटाल होते हैं। प्रेम संबंध रखते हैं और पता भी नहीं चलने देते। ये विलासी होते हैं, परंतु अपने मान-सम्मान का पूरा ध्यान रखते हैं। वैवाहिक जीवन सुखी होता है। धार्मिक कार्यो में अधिक रुचि के कारण घर में अशांति आ जाती है। एकाधिक विवाह का योग होता है। इनके एक पुत्र-संतान अवश्य होती है। ३, ६, ७, ९ वाले व्यक्ति इनके अच्छे जीवनसाथी सिद्ध होते हैं।

यात्राएं :
मूलांक ३ वाले व्यक्तियों को अक्सर धार्मिक यात्रा का अवसर मिलता है। विदेश यात्रा से भी लाभ प्राप्त होता है।

शुभ रंग :
पीला रंग अति शुभ है। गुलाबी, हल्का जामुनी, सफेद रंग भी इन्हें लाभ देता है। काला तथा हल्का नीला रंग अशुभ माना गया है।

शुभ तिथियां :
मूलांक ३ वालों के लिए २, ३, ६, ९, २१, २४, २७, ३0, तारीखें शुभ हैं।

शुभ दिन :
मूलांक ३ वालों के लिए गुरुवार, शुक्रवार एवं मंगलवार शुभ होता है।

गुरुमंत्र :
मूलांक ३ वालों को पीली वस्तुओं का इस्तेमाल करना चाहिए। शुभ रत्न- पीला पुखराज है। सवा पांच से सवा छह रत्ती का पीला पुखराज सोने की अंगूठी में जड़कर, तर्जनी में बृहस्पतिवार को धारण करने से लाभ मिलता है। अगर इसका सामथ्र्य न हो तो पीला रुमाल अपने पास रखें एवं गुरुदेव का ध्यान करके ‘ऊँ ग्रां ग्रीं ग्रों स: गुरुवे नम:’ का जाप करें।

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